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सफलता का गुप्त मंत्र

सफलता का गुप्त मंत्र
मैं महान हूँ, अब तक मैं बाह्य जड़ पदार्थो में लुभाकर सुख की खोज करता रहा किन्तु कहीं शान्ति न मिली, वास्तव में सुख है आत्मा में| सम्पूर्ण सुखों का केन्द्र है आत्मा| मैं प्रेमी हूँ, प्रेम ही मेरा जीवन है, मैं प्राणी मात्र की सेवा का प्रेमी हूँ| मैं सुखी हूँ| सफलता मेरे दाये बांये चलती है| Continue reading “सफलता का गुप्त मंत्र” »

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अपने धड़कते दिल से पूछो

अपने धड़कते दिल से पूछो
जिंदगी थोड़ी है, समय उससे भी कम| जैसे जैसे समय बीतता है, वैसे वैसे हम मृत्यु के निकट पहुँचते जाते हैं| आँखे खोल कर श्मशान की तरफ जाते हुए मुरदों की तरफ देखो और सोचो कि एक दिन हमारी भी यही हालत होगी| फिर क्यों न हम अनंत भव भटकने के बाद प्राप्त अति दुर्लभ अनमोल मानव भव को सफल बना ले| Continue reading “अपने धड़कते दिल से पूछो” »

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परिवार की दृष्टि से न गिरो

परिवार की दृष्टि से न गिरो
कई बेसमझ अज्ञान महिलाएँ अपने भर्तार और घर की आय-व्यय का विचार न कर, वे विशेष वस्त्रालंकार श्रृंगार की वस्तुओं के लिये मरती हैं, कलह कर बैठती हैं| इसी मनमुटाव के कारण वे शनै: शनै: अपने परिवार और समाज की दृष्टि से गिर जाती हैं| Continue reading “परिवार की दृष्टि से न गिरो” »

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श्रीफल का महत्त्व

श्रीफल का महत्त्व

श्रीफल रखुं मैं हाथ में, इसमें है पानी भरा
प्रिय जमाई आप रखना, मन को सदा गहरा भरा
गृहस्थ जीवन भी एक समस्या है| दो बर्तन हो वहॉं आपस में टकराने की संभावना रहती है, उसी प्रकार वरवधू की सौम्य प्रकृति के अभाव में परस्पर अनबन हो सकती है, किन्तु मनमुटाव नहीं| Continue reading “श्रीफल का महत्त्व” »

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